स्त्री अशिष्ट रूपण (प्रतिषेध) अधिनियम, 1986 |
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(1986 का अधिनियम संख्यांक 60) |
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इस अधिनियम का संक्षिप्त नाम क्या है? |
स्त्री अशिष्ट रूपण (प्रतिषेध) अधिनियम, 1986 |
इस अधिनियम की धारा 1 किस विषय से संबंधित है? |
संक्षिप्त नाम, विस्तार और प्रारंभ (Short title, extent and commencement) |
इस अधिनियम को राष्ट्रपति की स्वीकृति कब प्राप्त हुई? |
23 दिसंबर 1986 |
यह अधिनियम भारत में कब प्रारंभ हुआ था? |
2 अक्टूबर 1987 |
यह अधिनियम कहाँ लागू होता है? |
सम्पूर्ण भारत में (जम्मू और कश्मीर पुनर्गठन अधिनियम, 2019 द्वारा "जम्मू-कश्मीर राज्य के सिवाय" शब्दों का (31-10-2019 से) लोप किया गया। |
अधिनियम का प्रारंभ किसके द्वारा अधिसूचित किया जाता है? |
केंद्र सरकार राजपत्र द्वारा |
कौन सा केस महिलाओं के अशिष्ट चित्रण पर संवैधानिक व्याख्या से संबंधित है? |
अविक सरकार बनाम पश्चिम बंगाल राज्य (2014) |
'संविधान के किस अनुच्छेद' के तहत इस अधिनियम को लागू करने की शक्ति केंद्र सरकार को प्राप्त है? |
अनुच्छेद 19(2) |
धारा 1 के अनुसार, यह अधिनियम किनके लिए प्रभावी है? |
महिलाओं के चित्रण से जुड़े सभी लोगों के लिए |
कौन सा केस में गरिमा और निजता मौलिक अधिकार पर बल दिया गया जो इस अधिनियम से जुड़ता है? |
पब्लिक इंटरेस्ट फाउंडेशन बनाम भारत संघ |
यह अधिनियम किस प्रकार की छवि के विरोध में है? |
अशिष्ट, अपमानजनक और यौन रूप से भड़काऊ |
“विज्ञापन” (Advertisement) किस धारा में परिभाषित है? |
धारा 2(क) |
स्त्री अशिष्ट रूपण (प्रतिषेध) अधिनियम, 1986 की धारा 2(क) में "विज्ञापन" का क्या अर्थ है? |
कोई सूचना परिपत्र, लेबल, रैपर या अन्य दस्तावेज है और इसके अंतर्गत प्रकाश, ध्वनि, धुआं या गैस के माध्यम से किया गया कोई दृश्य रूपण भी है |
कौन-सा "विज्ञापन" की परिभाषा में नहीं आता? |
समाचार रिपोर्ट |
अधिनियम के अनुसार यदि कोई विज्ञापन अशिष्ट रूप में महिला को दर्शाता है, तो यह क्या कहलाएगा? |
अपराध |
धारा 2(क) के अनुसार क्या केवल मुद्रित विज्ञापन ही अधिनियम के तहत आते हैं? |
नहीं |
“विज्ञापन” की परिभाषा में व्यक्तिगत पत्र शामिल है? |
नहीं |
किस केस में सुप्रीम कोर्ट ने विज्ञापन को वाणिज्यिक भाषण रूप में मान्यता दी? |
'टाटा प्रेस लिमिटेड बनाम महानगर टेलीफोन निगम लिमिटेड' |
विज्ञापन के माध्यम से अशिष्ट रूपण होने पर दंड का प्रावधान किस धारा में है? |
धारा 6 |
यदि कोई कंपनी विज्ञापन में महिला का अशिष्ट चित्रण करती है, तो उत्तरदायी कौन होता है? |
कंपनी के निदेशक/प्रबंधक |
किस केस में अदालत ने कहा कि ‘अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता’ का दुरुपयोग अशिष्ट विज्ञापन द्वारा नहीं किया जा सकता? |
एस. रंगराजन बनाम पी. जगजीवन राम |
क्या सोशल मीडिया पर प्रसारित विज्ञापन इस अधिनियम के अंतर्गत आते हैं? |
हाँ, यह भी विज्ञापन की परिभाषा में आता है |
विज्ञापन की परिभाषा में “ऑडियो-विजुअल” माध्यमों को क्यों जोड़ा गया है? |
क्योंकि अशिष्ट चित्रण अक्सर इन्हीं में होता है |
क्या किसी पुस्तक के कवर पेज पर चित्रण "विज्ञापन" की श्रेणी में आ सकता है? |
हाँ, यदि वह बिक्री को बढ़ावा देने के लिए है |
“वितरण” (Distribution) किस धारा में परिभाषित है? |
धारा 2(ख) |
अधिनियम की धारा 2(ख) में "वितरण" का क्या अर्थ है? |
नमूने के तौर पर, चाहे मुफ्त या अन्यथा, वितरण भी है |
"वितरण" की परिभाषा में क्या शामिल नहीं है? |
सामाजिक उपयोग |
यदि कोई पुस्तकालय जानबूझकर अशिष्ट चित्रण वाली पुस्तक देता है, तो क्या वह की श्रेणी में आता है? |
हाँ |
क्या सोशल मीडिया पर किसी अशिष्ट चित्रण वाली सामग्री को शेयर करना "वितरण" है? |
हाँ, यदि जानबूझकर किया गया |
यदि कोई व्यक्ति अशिष्ट सामग्री को किराए पर देता है, तो वह क्या कहलाएगा? |
वितरक |
कौन सा केस "अश्लील पुस्तक का वितरण” से संबंधित है? |
रंजीत डी. उदेशी बनाम महाराष्ट्र राज्य |
वितरण किस रूप में अपराध माना जाता है? |
संज्ञेय अपराध |
"वितरण" की कानूनी परिभाषा में कौन-सा कार्य विशेष रूप से शामिल है? |
विक्रय, किराया या उधार द्वारा प्रचार |
क्या स्कूलों में अशिष्ट सामग्री का प्रसार “वितरण” माना जाएगा? |
हाँ, यदि वह अशिष्ट चित्रण वाली सामग्री हो |
क्या कोई ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्म “वितरण” के लिए उत्तरदायी ठहराया जा सकता है? |
हाँ, अगर वह सामग्री को जानबूझकर बढ़ावा दे |
“वितरण” की व्याख्या में कौन-सी मंशा महत्त्वपूर्ण है? |
जानबूझकर अशिष्ट सामग्री को साझा करना |
“वितरण” की परिभाषा के अंतर्गत कौन-सा माध्यम आता है |
प्रिंट मीडिया, डिजिटल प्लेटफॉर्म, ऑडियो-विजुअल माध्यम |
क्या “वितरण” के लिए सामग्री का मुद्रित होना अनिवार्य है? |
नहीं, डिजिटल भी शामिल है |
“स्त्री अशिष्ट रूपण"(Indecent Representation of women) किस धारा में परिभाषित है? |
धारा 2(ग) |
धारा 2(ग) के अनुसार किसी स्त्री की आकृति, उसके रूप या शरीर या उसके किसी अंग का, किसी ऐसी रीति से ऐसे रूप में चित्रण करना जिसका प्रभाव अशिष्ट हो, अथवा जो स्त्रियों के लिए अपमानजनक या निन्दनीय हो, अथवा जिससे, लोक नैतिकता या नैतिक आचार के विकृत भ्रष्ट या क्षति होने की संभावना है, क्या कहलाता है? |
"स्त्री अशिष्ट रूपण" (Indecent Representation of women) |
"स्त्री अशिष्ट रूपण" की परिभाषा में कौन-से माध्यम शामिल होते हैं? |
कोई भी दृश्य, लिखित या चित्रात्मक माध्यम |
कौन-सा स्त्री अशिष्ट रूपण की श्रेणी में आता है? |
महिला को यौन वस्तु की तरह प्रस्तुत करना |
किस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने कहा महिला के नग्न चित्रण को संदर्भानुसार देखा जाना चाहिए? |
अवीक सरकार बनाम पश्चिम बंगाल राज्य (2014) |
क्या कला और साहित्य के उद्देश्य से किया गया चित्रण स्त्री अशिष्ट रूपण माना जाएगा? |
नहीं, अगर उसका उद्देश्य अशिष्ट नहीं है |
क्या परिधान की न्यूनता अपने आप में अशिष्टता है? |
नहीं, संदर्भ महत्वपूर्ण है |
किस स्थिति में स्त्री अशिष्ट रूपण नहीं माना जाएगा? |
सामाजिक जागरूकता हेतु यथार्थ चित्रण |
क्या कोई निजी चित्रण भी “स्त्री अशिष्ट रूपण” की श्रेणी में आ सकता है? |
हाँ, यदि वह सार्वजनिक रूप से साझा किया गया हो |
अधिनियम के अंतर्गत “स्त्री अशिष्ट रूपण” को कौन तय करता है? |
अदालत और सक्षम प्राधिकारी |
अश्लीलता के निर्धारण में कौन-सा टेस्ट प्रयोग होता है? |
समुदाय मानक टेस्ट (Community Standard Test) |
“स्त्री अशिष्ट रूपण” का मूल्यांकन किसके दृष्टिकोण से किया जाना चाहिए? |
औसत समझदार व्यक्ति के दृष्टिकोण से |
क्या एक फोटोशॉप्ड छवि भी “स्त्री अशिष्ट रूपण” हो सकती है? |
हाँ, अगर वह अश्लील या अपमानजनक हो |
"लेबल"(Label)किस धारा में परिभाषित है? |
धारा 2(घ) |
धारा 2(घ) के अनुसार “लेबल” का क्या अर्थ है? |
कोई लिखित, चिह्नित स्टाम्पित, मुद्रित या चित्रित विषय-वस्तु अभिप्रेत है जो किसी पैकेज पर चिपकाई गई है या उस पर दिखाई दे रही है |
क्या उत्पाद के बाहरी पैकेज पर अश्लील महिला चित्रण "लेबल" कहलाएगा? |
हाँ |
"लेबल" की परिभाषा में निजी डायरी का चित्र शामिल है? |
नहीं |
किस केस में कोर्ट ने उत्पादों की पैकेजिंग पर महिलाओं के अपमानजनक चित्रण को गंभीर बताया था? |
पुन: केरल शराब विज्ञापन मामला |
“लेबल” किस उद्देश्य से प्रयोग होता है जिससे यह अपराध बन सकता है? |
ब्रांड को प्रचारित करने हेतु यौन रूप से भड़काने वाला चित्रण |
क्या किसी उत्पाद का अश्लील लेबल स्त्री अशिष्ट रूपण की श्रेणी में आता है? |
हाँ |
धारा 2(घ) किस पर लागू होती है? |
उत्पादों के ऊपर लगे अश्लील चित्रण |
क्या उत्पाद के अंदर रखे गए पत्रक पर अशिष्ट चित्रण भी “लेबल” की श्रेणी में आएगा? |
हाँ |
“लेबल” के संदर्भ में अपराध की जिम्मेदारी किस पर होती है? |
निर्माता |
क्या किसी उत्पाद पर नग्न महिला की तस्वीर ब्रांड प्रमोशन के लिए लगाना अपराध हो सकता है? |
हाँ, यदि वह अशिष्ट रूपण की परिभाषा में आता है |
कौन से केस में विज्ञापन से जुड़ी-सी बात अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पूर्ण नहीं है, स्पष्ट की गई थी? |
हमदर्द दवाखाना बनाम भारत संघ |
क्या यह आवश्यक है कि लेबल में दिखाए गए चित्र वास्तव में नग्न हों ताकि यह अधिनियम लागू हो? |
नहीं, यदि वह अश्लील या यौन संकेत देने वाला हो |
क्या डिजिटल प्रोडक्ट्स (जैसे मोबाइल एप्स) के आइकन पर लगा अश्लील चित्र “लेबल” माना जा सकता है? |
हाँ |
“लेबल” की सामग्री पर नियंत्रण किसके अधिकार क्षेत्र में आता है? |
केंद्र सरकार |
"पैकेज” (Package) किस धारा में परिभाषित है? |
धारा 2(ङ) |
अधिनियम की धारा 2(ङ) के अनुसार "पैकेज" का क्या अर्थ है? |
कोई बाक्स, कार्टन टिन या अन्य पात्र भी है |
"पैकेज" में शामिल नहीं है? |
उत्पाद का उपयोग विधि पुस्तिका |
क्या पैकेज पर महिलाओं के अशिष्ट चित्रण को अपराध माना जाता है? |
हाँ |
कौन-सी संस्था पैकेजिंग पर अशिष्ट चित्रण पर नियंत्रण रखती है? |
केंद्र सरकार और संबंधित प्राधिकरण |
सुप्रीम कोर्ट ने पैकेजिंग पर अश्लील चित्रण के मामले में कौन-सा सिद्धांत अपनाया है? |
सामाजिक नैतिकता और महिला की गरिमा की रक्षा |
क्या किसी पैकेज पर अश्लील महिला चित्रण को कला या सांस्कृतिक अभिव्यक्ति के तहत अनुमति दी जा सकती है? |
कभी-कभी, यदि स्पष्ट कला का उद्देश्य हो |
कौन-सा केस पैकेजिंग और महिला गरिमा से संबंधित है? |
केरल राज्य बनाम के.सी. अलेक्जेंडर |
क्या पैकेज पर अश्लील चित्रण को अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के तहत पूरी तरह सुरक्षित माना जा सकता है? |
नहीं, यदि वह महिला की गरिमा का उल्लंघन करता है |
पैकेज पर अशिष्ट चित्रण के विरुद्ध शिकायत दर्ज कराने का अधिकार किसके पास है? |
कोई भी व्यक्ति या उपभोक्ता कर सकता है |
पैकेज पर अशिष्ट चित्रण के खिलाफ कार्रवाई कौन करता है? |
पुलिस एवं संबंधित प्राधिकरण |
क्या पैकेज के साथ संलग्न लेबल भी अधिनियम के अंतर्गत आता है? |
हाँ |
पैकेज पर अशिष्ट चित्रण से जुड़े विवाद में कौन-से अधिकार का संरक्षण महत्वपूर्ण माना जाता है? |
महिला की गरिमा और सम्मान |
“पैकेज” की अवधारणा में कौन-सा शामिल नहीं है? |
वस्तु के उपयोग के निर्देश |
"विहित"(Prescribed) किस धारा में परिभाषित है? |
धारा 2(च) |
धारा 2(च) में "विहित" का क्या अर्थ है? |
जो कानून या नियम द्वारा निर्दिष्ट किया गया हो |
“विहित” शब्द का प्रयोग अधिनियम में किस उद्देश्य से किया गया है? |
यह दर्शाने के लिए कि कौन-सा कार्य विधिक रूप से अनुमत या वर्जित है |
"विहित" की परिभाषा किन दस्तावेजों के संदर्भ में लागू होती है? |
अधिनियम, नियम, अधिसूचना या आदेश |
स्त्री अशिष्ट रूपण अंतर्विष्ट करने वाले विज्ञापनों का प्रतिषेध (Prohibition of Advertisements Containing Indecent Representation of Women) किस धारा से सम्बंधित है? |
धारा 3 |
धारा 3 के अनुसार कौन से विज्ञापन प्रतिबंधित हैं? |
सभी विज्ञापन जो स्त्री अशिष्ट रूपण को दर्शाते हैं |
क्या धारा 3 के तहत सभी प्रकार के अश्लील विज्ञापन प्रतिबंधित हैं? |
हाँ, जो स्त्री की गरिमा का हनन करते हों |
विज्ञापन में स्त्री अशिष्ट रूपण को रोकने का उद्देश्य क्या है? |
महिलाओं की गरिमा और सम्मान की रक्षा करना |
क्या धारा 3 के तहत केवल टीवी विज्ञापन आते हैं? |
नहीं, सभी प्रकार के विज्ञापन जैसे प्रिंट, डिजिटल, रेडियो आदि शामिल हैं |
धारा 3 के तहत ‘अशिष्ट रूपण’ की परिभाषा किस धारा में दी गई है? |
धारा 2(ग) |
क्या कोई विज्ञापन जिसमें महिला की गरिमा का हनन होता है, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के तहत सुरक्षित रहेगा? |
नहीं, यदि वह स्त्री अशिष्ट रूपण करता है |
धारा 3 के अंतर्गत विज्ञापन में अश्लीलता की जांच का मानक क्या होता है? |
समाज के सामान्य और सार्वजनिक नैतिकता मानक |
कौन-से प्राधिकारी को विज्ञापन में स्त्री अशिष्ट रूपण के मामले में शिकायत दर्ज करनी चाहिए? |
कोई भी व्यक्ति शिकायत कर सकता है |
क्या किसी विज्ञापन को हटाने या प्रतिबंधित करने के लिए अदालत में याचिका दी जा सकती है? |
हाँ |
विज्ञापन में स्त्री अशिष्ट रूपण से संबंधित विवादों में किस कानून का भी सहारा लिया जाता है? |
BNS की धारा 294 (अश्लीलता) |
क्या धारा 3 केवल नई विज्ञापनों पर लागू होती है? |
नहीं, पुराने विज्ञापनों पर भी लागू होती है |
स्त्री अशिष्ट रूपण अंतर्विष्ट करने वाली पुस्तकों, पुस्तिकाओं, आदि के प्रकाशन या डाक द्वारा भेजने का प्रतिषेध, (Prohibition of Publication or sending by post of Books, Pamphlets, ect., Containing Indecent Representation of women) किस धारा से सम्बंधित है? |
धारा 4 |
धारा 4 के अनुसार किस प्रकार की सामग्री के प्रकाशन या डाक द्वारा भेजने पर प्रतिबंध है? |
स्त्री अशिष्ट रूपण (अश्लील, अपमानजनक) सामग्री वाली पुस्तकें, पत्रिकाएँ, आदि |
क्या स्त्री अशिष्ट रूपण वाली पुस्तकें डाक से भेजना इस अधिनियम के तहत अपराध है? |
हाँ |
प्रकाशन के संदर्भ में “स्त्री अशिष्ट रूपण” का अर्थ क्या है? |
महिला का अश्लील या अपमानजनक चित्रण या वर्णन |
क्या धारा 4 केवल पुस्तकों पर लागू होती है? |
नहीं, पुस्तिकाओं, समाचार पत्र, पत्रिकाओं और अन्य प्रकाशनों पर भी लागू होती है |
क्या किसी पुस्तक में महिला के अश्लील चित्रण को अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का हिस्सा माना जा सकता है? |
नहीं, यदि वह महिला की गरिमा का उल्लंघन करता है |
क्या कोई व्यक्ति धारा 4 के तहत ऐसे प्रकाशन के विरुद्ध शिकायत कर सकता है? |
हाँ, कोई भी व्यक्ति शिकायत कर सकता है |
क्या स्त्री अशिष्ट रूपण वाले प्रकाशनों के वितरण पर भी अधिनियम लागू होता है? |
हाँ |
क्या धारा 4 के अंतर्गत ई-पुस्तकों और डिजिटल प्रकाशनों पर भी प्रतिबंध लागू हो सकता है? |
हाँ, यदि वे स्त्री अशिष्ट रूपण करते हैं |
स्त्री अशिष्ट रूपण वाले प्रकाशनों पर प्रतिबंध का उद्देश्य क्या है? |
महिलाओं की गरिमा और सम्मान की रक्षा करना |
क्या किसी पुस्तक में स्त्री अशिष्ट रूपण न होने पर भी धारा 4 लागू हो सकती है? |
नहीं |
धारा 4 के तहत प्रकाशनों में अशिष्टता की जांच का मानक क्या है? |
सामाजिक नैतिकता और महिला की गरिमा |
प्रयोग करने और तलाशी लेने की शक्तियां, (Powers to Enter and Search) किस धारा से सम्बंधित है? |
धारा 5 |
धारा 5 के अनुसार प्रवेश और तलाशी लेने की शक्ति किसके पास होती है? |
अधिकारी या अधिकृत व्यक्ति जो सरकार द्वारा नियुक्त होते हैं |
किस परिस्थिति में अधिकारी किसी स्थान पर प्रवेश कर तलाशी ले सकते हैं? |
जब उन्हें स्त्री अशिष्ट रूपण से संबंधित किसी अपराध का संदेह हो |
अधिकारी द्वारा तलाशी के दौरान क्या करना आवश्यक होता है? |
प्रवेश और तलाशी का पूरा ब्यौरा लिखित में देना |
क्या अधिकारी बिना वारंट के भी तलाशी ले सकते हैं? |
हाँ, यदि तुरंत कार्रवाई आवश्यक हो |
अधिकारी के प्रवेश और तलाशी के अधिकार पर क्या सीमा होती है? |
केवल निर्धारित स्थान तक |
सुप्रीम कोर्ट ने प्रवेश और तलाशी के अधिकार के संदर्भ में क्या कहा है? |
प्रवेश और तलाशी का अधिकार कानूनी प्रक्रियाओं के अधीन होना चाहिए |
अधिकारी द्वारा तलाशी लेने पर यदि कोई वस्तु अशिष्ट रूपण संबंधी हो तो क्या किया जा सकता है? |
उसे जब्त किया जा सकता है |
क्या अधिकारी को तलाशी के दौरान महिला की गरिमा का ध्यान रखना होता है? |
हाँ |
धारा 5 के अंतर्गत तलाशी लेने के बाद क्या कार्रवाई करनी होती है? |
लिखित रिपोर्ट संबंधित प्राधिकारी को प्रस्तुत करना |
किसी ऐसे स्थान में, जिसमें उसके पास यह विश्वास करने का कारण है कि इस अधिनियम के अधीन कोई अपराध किया गया है या किया जा रहा है, ऐसे सहायकों के साथ, यदि कोई हों, जिन्हें वह आवश्यक समझे, सभी उचित समयों पर प्रवेश कर सकेगा और उसकी तलाशी ले सकेगा? |
हाँ, |
कोई ऐसा विज्ञापन अथवा कोई ऐसी पुस्तक पुस्तिका, कागज पत्र, स्लाइड, फिल्म, लेख, रेखाचित्र रंगचित्र, फोटोचित्र, रूपण या आकृति, जिसके बारे में उसके पास यह विश्वास करने का कारण है कि उपबंधों का उल्लंघन करती है क्या कर सकेगा? |
अभिगृहीत कर सकेगा |
किसी ऐसे स्थान में पाए गए किसी अभिलेख, रजिस्टर, दस्तावेज या अन्य किसी भौतिक पदार्थ, जिसमें उसके पास यह विश्वास करने का कारण है कि इस अधिनियम के अधीन कोई अपराध किया गया है या किया जा रहा है ऐसी वस्तुओं के संबंध में अधिकारी क्या कर सकेगा? |
उनकी परीक्षा कर सकेगा
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शास्ति, (Penalty) किस धारा से सम्बंधित है? |
धारा 6 |
धारा 3 या धारा 4 के उपबंधों का उल्लंघन करेगा, प्रथम दोषसिद्धि पर कौन-सी सजा दी जा सकती है? |
दोनों में से किसी भांति के कारावास से, जिसकी अवधि दो वर्ष तक की हो सकेगी, और जुर्माने से, जो दो हजार रुपए तक का हो सकेगा |
धारा 3 या धारा 4 के उपबंधों का उल्लंघन करेगा, द्वितीय या पश्चात्वर्ती दोषसिद्धि पर कौन-सी सजा दी जा सकती है? |
कारावास से जिसकी अवधि छह मास से कम की नहीं होगी किन्तु जो 5 वर्ष तक की हो सकेगी, और जुर्माने से भी, जो दस हजार रुपए से कम का नहीं होगा किन्तु जो एक लाख रुपए तक का हो सकेगा, दंडनीय होगा। |
किस केस में सुप्रीम कोर्ट ने धारा 6 के दंडात्मक प्रावधानों को संवैधानिक माना था? |
रंजीत डी. उदेशी बनाम महाराष्ट्र राज्य |
कंपनियों द्वारा अपराध, (Offences by Companies) किस धारा से सम्बंधित है? |
धारा 7 |
अपराधों का संज्ञेय और जमानतीय होना, (Offences to be Cognizable and Bailable) किस धारा से सम्बंधित है? |
धारा 8 |
धारा 8 के अनुसार स्त्री अशिष्ट रूपण से संबंधित अपराध किस श्रेणी के अपराध माने गए हैं? |
संज्ञेय अपराध |
धारा 8 के अनुसार क्या स्त्री अशिष्ट रूपण के अपराध जमानतीय हैं? |
हाँ, ये जमानतीय अपराध हैं |
सद्भावपूर्वक की गई कार्रवाई के लिए संरक्षण, (Protection of Action taken in Good Faith) किस धारा से सम्बंधित है? |
धारा 9 |
सद्भावपूर्वक की गई या की जाने के लिए आशयित किसी बात के लिए कोई भी वाद, अभियोजन या अन्य विधिक कार्यवाही किसके विरुद्ध नहीं होगी? |
केन्द्रीय सरकार या किसी राज्य सरकार अथवा केन्द्रीय सरकार या किसी राज्य सरकार के किसी अधिकारी के विरुद्ध |
सुप्रीम कोर्ट ने किस मामले में सद्भावपूर्वक की गई कार्रवाई के संरक्षण को मान्यता दी थी? |
रामलाल बनाम मध्य प्रदेश राज्य |
नियम बनाने की शक्ति, (Power to Make Rules) किस धारा से सम्बंधित है? |
धारा 10 |
धारा 10 के अनुसार नियम बनाने की शक्ति किसके पास है? |
केन्द्रीय सरकार |
केंद्र सरकार किसके लिए नियम बना सकती है? |
पूरे भारत के लिए |
इस अधिनियम के अधीन बनाया गया प्रत्येक नियम बनाए जाने के पश्चात् किसके समक्ष रखा जायेगा? |
संसद् के प्रत्येक सदन के समक्ष |
इस अधिनियम के अधीन बनाया गया प्रत्येक नियम बनाए जाने के पश्चात् संसद् के समक्ष कितनी अवधि के लिए रखा जाएगा? |
जब वह सत्र में हो, कुल तीस दिन की अवधि के लिए |
क्या केंद्र सरकार नियमों के संबंध में संशोधन कर सकती है? |
हाँ |